नई दिल्ली।
इस साल का दिवाली पर्व बेहद खास और ऐतिहासिक रहने वाला है। 20 अक्टूबर 2025, सोमवार को मनाई जा रही दिवाली पर एक ऐसा दुर्लभ ज्योतिषीय योग बन रहा है, जो पूरे 100 वर्षों बाद बन रहा है। इसे हंस महापुरुष राजयोग कहा जाता है और यह केवल विशेष ग्रहों की स्थिति में ही बनता है।
🌟 हंस महापुरुष योग क्या है?
हंस योग को पंच महापुरुष योगों में से एक माना जाता है। यह तब बनता है जब देवगुरु बृहस्पति अपनी उच्च राशि कर्क में, या स्वयं की राशि में, या केंद्र स्थान में विराजमान हों। इस बार 18 अक्टूबर 2025 को बृहस्पति कर्क राशि में प्रवेश करेंगे, और यही से इस प्रभावशाली योग का निर्माण होगा।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, यह योग जीवन में धन, पद, प्रतिष्ठा, ज्ञान और सफलता लाने वाला होता है। खास बात यह है कि इस दिवाली तीन राशियों को इस योग का सबसे अधिक लाभ मिलेगा।
🔮 इन 3 राशियों को मिलेगा विशेष लाभ:
1. ♋ कर्क राशि:
- सफलता के नए द्वार खुलेंगे
- हंस योग कर्क राशि के लग्न भाव में बन रहा है।
- करियर में तरक्की के नए मौके मिलेंगे।
- आर्थिक स्थिति मज़बूत होगी और पुराने रुके कार्य पूर्ण होंगे।
- पारिवारिक जीवन में सुख-शांति आएगी, छात्रों को सफलता मिलेगी।
- स्वास्थ्य में सुधार और मानसिक तनाव में कमी आएगी।
2. ♎ तुला राशि:
- करियर में जबरदस्त उछाल
- यह योग तुला राशि के दशम भाव (कर्म स्थान) में बन रहा है।
- प्रमोशन, नई नौकरी या वेतन वृद्धि के संकेत हैं।
- व्यापार में लाभ और नए अवसरों की प्राप्ति हो सकती है।
- आत्मविश्वास और निर्णय लेने की क्षमता में वृद्धि होगी।
3. ♏ वृश्चिक राशि:
- भाग्य का मिलेगा साथ
- वृश्चिक राशि के लिए यह योग नवम भाव (भाग्य स्थान) में बन रहा है।
- सौभाग्य में वृद्धि, सामाजिक मान-सम्मान और निवेश से लाभ के योग बन रहे हैं।
- नई संपत्ति खरीदने या रुका हुआ पैसा वापस मिलने के संकेत भी हैं।
हालांकि यह योग विशेष रूप से कर्क, तुला और वृश्चिक राशि के लिए शुभ माना गया है, लेकिन इसका सामान्य प्रभाव अन्य सभी राशियों पर भी देखने को मिल सकता है। यह समय आध्यात्मिक साधना, दान-पुण्य, और सकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करने के लिए उत्तम माना जा रहा है।
📅 दिवाली 2025 मुहूर्त एवं विशेषताएं
तिथि: 20 अक्टूबर 2025 (सोमवार)
त्योहार: दीपावली / लक्ष्मी पूजा
खास संयोग: हंस महापुरुष राजयोग + उच्च राशि में गुरु का प्रवेश
उपाय: इस दिन गुरु से जुड़े उपाय करें, जैसे पीली वस्तुओं का दान, गरीबों को भोजन, और ब्राह्मणों को विद्या से संबंधित सामग्री दान करें।