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थाईलैंड–कंबोडिया सीमा पर युद्ध जैसी स्थिति, अब तक 24 की मौत; लड़ाई थमने के आसार नहीं

थाईलैंड और कंबोडिया की सीमा पर संघर्ष लगातार तेज होता जा रहा है। गुरुवार को दोनों देशों की ओर से कम से कम 24 मौतों की आधिकारिक पुष्टि की गई, जिनमें 12 से अधिक आम नागरिक शामिल हैं। यह पहली बार है जब जारी संघर्ष में नागरिकों के हताहत होने का आँकड़ा सामने आया है।

थाई सेना ने बताया कि सीमा पर कंबोडियाई फौज के भारी हमलों के बीच 3 थाई नागरिकों और 9 सैनिकों की मौत हुई है। कंबोडिया ने भी 9 मृतकों का दावा किया है। इस लड़ाई के कारण सीमा के दोनों ओर हजारों लोग विस्थापित हुए हैं और अस्थायी शिविरों में शरण ले रहे हैं।

रविवार को हुई एक झड़प में दो थाई सैनिकों के घायल होने के बाद लड़ाई तेजी से भड़क उठी। यह वही क्षेत्र है जहाँ जुलाई में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की मध्यस्थता के बाद युद्धविराम लागू किया गया था, लेकिन अब वह समझौता पूरी तरह टूट चुका है।

बुधवार रात कंबोडियाई सेना ने थाई चौकियों पर तोपखाने और मोर्टार से हमले किए, जिसके जवाब में थाई सेना ने भी भारी हथियारों का इस्तेमाल किया और कंबोडिया के “एकाधिक सैन्य वाहनों” को नष्ट करने का दावा किया।

कंबोडिया की ओर से जारी सरकारी मीडिया ‘फ्रेश न्यूज़’ ने बताया कि गुरुवार सुबह तक भी तोपखाने की लड़ाई जारी थी। थाई सेना के अनुसार:

  • कंबोडियाई सेना ने 79 BM-21 सैल्वो (3,160 रॉकेट) दागे
  • 122 बार भारी तोपखाना चलाया
  • 63 ड्रोन बम हमले किए

इसके कारण थाईलैंड के सूरीन प्रांत में एक अस्पताल खाली कराना पड़ा

थाईलैंड ने जवाबी कार्रवाई में जेट फाइटरों से हवाई हमले किए और प्रीह विहार मंदिर क्षेत्र में कंबोडियाई सेना द्वारा लगाई गई इलेक्ट्रॉनिक-ऑप्टिकल क्रेन को नष्ट करने का दावा किया।

थाईलैंड:

  • 9 सैनिक
  • 3 नागरिक
  • 120 से अधिक सैनिक घायल

कंबोडिया:

  • 9 नागरिक (एक शिशु सहित)
  • 46 घायल

यह संघर्ष पिछले कई वर्षों में सबसे बड़ा और खतरनाक माना जा रहा है।

थाईलैंड और कंबोडिया के बीच यह विवाद सदियों पुराने क्षेत्रीय दावों को लेकर है।
मुख्य विवाद प्रीह विहार मंदिर और 1907 के उस फ्रांसीसी औपनिवेशिक नक्शे को लेकर है जिसे थाईलैंड मानने से इनकार करता है।

1962 में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय ने मंदिर कंबोडिया को सौंप दिया था, लेकिन थाईलैंड के भीतर इस फैसले को लेकर नाराज़गी आज भी कायम है।

पोप लियो XIV ने संघर्ष और नागरिकों की मौत पर “गहरी पीड़ा” जताई।

यूनेस्को ने प्रीह विहार मंदिर—जो विश्व धरोहर स्थल है—की सुरक्षा को लेकर चिंता व्यक्त की और तकनीकी सहायता देने की पेशकश की।

थाई–कंबोडिया संघर्ष दोबारा शुरू होने पर पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि वे दोनों पक्षों को फिर से युद्धविराम के लिए मनाने की कोशिश करेंगे।
हालाँकि थाई प्रधानमंत्री अनुतिन चार्नविराकुल ने कहा कि अमेरिका ने अभी तक उनसे संपर्क नहीं किया है, और वे “सिर्फ ट्रंप के कहने पर” बातचीत नहीं करेंगे।

संघर्ष लगातार बढ़ रहा है और दोनों देशों की सेनाएँ सीमा पर भारी हथियारों के साथ लड़ाई जारी रखे हुए हैं। अंतरराष्ट्रीय समुदाय ने स्थिति पर चिंता जताते हुए तुरंत युद्धविराम की अपील की है, लेकिन जमीनी हालात बताते हैं कि लड़ाई अभी रुकती नहीं दिख रही।

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