onwin giriş
Home उत्तराखंड राजनीति

आम आदमी पार्टी ने पूर्व सैनिक वोटरों को अपने पाले में लाने के लिए पूरी ताकत लगा दी; जाने पूरी खबर

उत्तराखंड में भाजपा व कांग्रेस के बाद अब आम आदमी पार्टी ने पूर्व सैनिक वोटरों को अपने पाले में लाने के लिए पूरी ताकत लगा दी है। इस कड़ी में आम आदमी पार्टी ने अपनी घोषणाओं के केंद्र में शहीद सैनिकों के स्वजन व पूर्व सैनिकों को रखा है। इतना ही नहीं, आम आदमी पार्टी ने सभी वर्गों को भी साधने का प्रयास किया है। देहरादून पहुंचे आप संयोजक अरविंद केजरीवाल ने अपने संबोधन में न केवल खुद को बाबा आंबेडकर का पुजारी बताया, बल्कि अयोध्या समेत अन्य धार्मिक स्थलों की मुफ्त यात्रा की घोषणा भी कर डाली।उत्तराखंड सैनिक बहुल प्रदेश हैं। यहां के हर परिवार से एक व्यक्ति सेना में है। यहां के कुल मतदाताओं का तकरीबन 12 फीसद मतदाता सैन्य पृष्ठभूमि से आता है। ये मतदाता किसी भी दल का चुनावी समीकरण बनाने व बिगाड़ने की क्षमता रखते हैं। सैन्य मतदाताओं की इस भूमिका को सभी राजनीतिक दल समझते हैं। यही कारण भी है कि चुनावी घोषणाओं के केंद्र में कहीं न कहीं पूर्व सैनिक अवश्य होते हैं।

पूर्व सैनिकों को लुभाने के लिए हाल ही में भाजपा ने जहां पूरे प्रदेश में शहीद सम्मान यात्रा निकाली, वहीं कांग्रेस ने शहीद सम्मान रैली का आयोजन किया। आम आदमी पार्टी भी पूर्व सैनिकों के महत्व को समझते हुए शुरू से ही सोची समझी रणनीति के तहत आगे बढ़ रही है। इसके लिए आप पहले ही सैनिक पृष्ठभूमि के कर्नल कोठियाल को मुख्यमंत्री पद का चेहरा घोषित कर चुकी है। अब आप ने एक कदम और आगे बढ़ाते हुए शहीद सैनिकों के स्वजन को एक करोड़ की सम्मान राशि और युवावस्था में सेवानिवृत्त होकर आने वाले पूर्व सैनिकों को सरकारी नौकरी देने की घोषणा की है। आप के राष्ट्रीय संयोजक ने मंच से भी कहा कि यदि पूर्व सैनिकों ने तय कर लिया तो आप को सरकार बनाने से कोई नहीं रोक सकता।आम आदमी पार्टी की परेड मैदान में हुई जनसभा में उमड़ी भीड़ से जहां आप नेताओं के चेहरे खिले तो अन्य राजनीतिक दलों की धड़कनें भी बढ़ गईं। आम आदमी पार्टी की देहरादून में यह पहली चुनावी जनसभा थी। इस लिहाजा से सभी की नजरें इस पर टिकी हुई थी। शुरुआत में तो भीड़ कम दिखी, लेकिन जैसे-जैसे आप के राष्ट्रीय संयोजक का सभा स्थल पर पहुंचने का समय आया वैसे-वैसे मैदान भरता चला गया।इनमें तकरीबन हर वर्ग के लोग शामिल थे। यहां तक कि विपक्षी दलों के वोट बैंक माने जाने वाले अल्पसंख्यक समुदाय व अनुसूचित जाति के व्यक्ति भी बड़ी संख्या में सभा स्थल पर मौजूद थे। इस दौरान राज्य आंदोलनकारी, पूर्व सैनिकों, अनुसूचित जाति के नेताओं, युवा व महिलाओं ने अलग-अलग आप के राष्ट्रीय संयोजक का स्वागत किया। इसमें आप का कुशल चुनावी प्रबंधन भी नजर आया।

 

 

Similar Posts

© 2015 News Way· All Rights Reserved.